हरियाणा | हरियाणा के पंचायत एवं खनन मंत्री कृष्ण लाल पंवार की ओर से आयोजित एक महत्वपूर्ण बैठक में अनुपस्थित रहना 7 ग्राम सचिवों को भारी पड़ गया। बैठक में गैरहाजिर रहने पर जिला उपायुक्त डॉ. वीरेंद्र कुमार दहिया ने सभी 7 सचिवों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
गंभीर लापरवाही का आरोप, आदेश में दर्ज की गई सख्ती
सस्पेंशन ऑर्डर में साफ तौर पर लिखा गया है कि ये सचिव अपनी ड्यूटी के प्रति गंभीर लापरवाही के दोषी हैं। यह निर्णय इसलिए लिया गया क्योंकि सभी को पहले से ही बैठक की सूचना भेजी गई थी और व्यक्तिगत रूप से उपस्थित रहना अनिवार्य किया गया था।
8 मई को भेजी गई थी सूचना, मंत्री ने जताई नाराजगी
पंचायत विभाग ने 8 मई को ही सभी ग्राम सचिवों को एक आधिकारिक पत्र भेजकर बैठक के बारे में सूचित कर दिया था। यह बैठक सोमवार को जिला सचिवालय में आयोजित की गई थी, जिसका मकसद गांवों में विकास कार्यों की समीक्षा और समस्याओं पर चर्चा करना था।
बैठक में सरपंचों के साथ संबंधित ग्राम सचिव और जूनियर इंजीनियर (JE) की उपस्थिति अनिवार्य थी। लेकिन बैठक में कई सचिव गैरहाजिर पाए गए, जिससे पंचायत मंत्री कृष्ण लाल पंवार ने नाराजगी जताई।
DC ने दिए निलंबन के आदेश, CEO ने किया पालन
बैठक के बाद डॉ. वीरेंद्र कुमार दहिया ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए जिला परिषद की CEO डॉ. किरण सिंह को निर्देश दिए कि वे सभी गैरहाजिर ग्राम सचिवों को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड करें।
निष्कर्ष: यह कार्रवाई हरियाणा में सरकारी बैठकों के प्रति लापरवाही बरतने वालों के लिए सख्त संदेश है। भविष्य में किसी भी शासकीय बैठक को अनदेखा करना नौकरी पर भारी पड़ सकता है।